हकेवि में डीएसटी-एस.ई.आर.बी द्वारा प्रायोजित पर सात दिवसीय कार्यशाला शुरू

महेंद्रगढ़ @ कानोड न्यूज । हरियाणा केंद्रीय विश्वविद्यालय (हकेवि), महेंद्रगढ़ में जैव रसायन विभाग द्वारा “आण्विक जीवविज्ञान साधन एवं तकनीक” विषय पर सात दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया जा रहा है । इस कार्यशाला का उद्घाटन विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. टंकेश्वर कुमार ने किया ।

कुलपति ने अपने संबोधन में प्रतिभागियों और शोधकर्ताओं को प्रोत्साहित करते हुए कहा कि जैव रसायन विभाग द्वारा लगातार दो कार्यशालाएँ आयोजित करने सराहनीय प्रयास है । इसी क्रम में शोध अधिष्ठाता प्रो. नीलम सांगवान ने अपने संबोधन में प्रतिभागियों को मानव स्वास्थ्य और कृषि उत्पादों जैसे विज्ञान के विभिन्न पहलुओं में आण्विक जीव विज्ञान तकनीकों की अग्रणी भूमिका से अवगत कराया । जैव रसायन विज्ञान विभाग के विभागाध्यक्ष प्रो. पवन कुमार मौर्य ने विभाग की उपलब्धियों पर प्रकाश डाला और कार्यशाला के बारे में जानकारी दी।

डॉ. प्रफुल्ल साल्वी, वैज्ञानिक-सी, राष्ट्रीय कृषि-खाद्य जैव प्रौद्योगिकी संस्थान (एनएबीआई), और डॉ. विकास यादव, जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) को “आण्विक जीवविज्ञान उपकरण और तकनीक” कार्यशाला के उद्घाटन के अवसर पर अतिथि वक्ता के रूप में आमंत्रित किया गया । डॉ. प्रफुल्ल साल्वी ने “अनलॉकिंग द पोटेंशियल ऑफ ट्रांसक्रिप्शन फैक्टर्स फॉर डेवलपिंग क्लाइमेट – रेसिलिएंट क्रॉप्स ” विषय पर अपना लेक्चर दिया और प्रतिभागियों के साथ बातचीत की।

डॉ. विकास यादव ने एसएआरएस -सीओवी -टू सहित इन्फ्लेमेशन संबंधी बीमारियों और मानव स्वास्थ्य से संबंधित चल रहे अपने शोध पर जोर दिया। डॉ. रूपेश देशमुख ने जैव प्रौद्योगिकी विभाग द्वारा “एडवांसेज इन जीनोमिक्स” विषय पर समानांतर आयोजित कार्यशाला के बारे में एक संक्षिप्त परिचय दिया।

डॉ. मुलाका मारुति ने इस कार्यशाला के संचालन के लिए डीएसटी-एसईआरबी-एक्सेलरेट विज्ञान कार्यशाला योजना से फंड प्राप्त किया। डॉ. सौरभ सक्सेना, प्रशिक्षण कार्यक्रम के आयोजन सचिव हैं। आयोजन समिति में प्रोफेसर अंतरेश कुमार, डॉ. उषा, डॉ. नीलम हैं। राजस्थान केंद्रीय विश्वविद्यालय, पंजाब केंद्रीय विश्वविद्यालय, एमडीयू, रोहतक, शूलिनी विश्वविद्यालय, हरियाणा केंद्रीय विश्वविद्यालय, इंदिरा गांधी राष्ट्रीय जनजातीय विश्वविद्यालय, गुरु जंभेश्वर विश्वविद्यालय हिसार, कुरूक्षेत्र विश्वविद्यालय, गलगोटिया विश्वविद्यालय और ई-युवा सेंटर, एडमास विश्वविद्यालय सहित विभिन्न संस्थानों के प्रतिभागियों ने भाग लिया है। कार्यशाला में प्रो. सुरेंद्र कुमार, प्रो. विकास बेनीवाल, डॉ. हुमीरा सोनाह, डॉ. इंद्रजीत, डॉ. जितेंद्र, डॉ. पूजा, डॉ. मनीषा, डॉ. विद्युल्लता, डॉ. रवि और डॉ. अंकुश ने भाग लिया ।

Leave a Reply

Show Buttons
Hide Buttons
error: Content is protected !!