राम के साथ परशुराम भी जरूरी , शक्ति के बिना मर्यादा की स्थापना संभव नहीं-डा.अरविंद शर्मा

  • धर्म की स्थापना और मानव कल्याण के पर्याय हैं परशुराम -चौधरी धर्मवीर सिंह
  • शस्त्र,शास्त्र, सृजन और शौर्य के प्रतीक हैं परशुराम-प्रोफेसर रामविलास शर्मा


महेंद्रगढ़ @ कानोड़ न्यूज । परशुराम शस्त्र और शास्त्र के समन्वय का नाम है, संतुलन का पैगाम है। आज जब शस्त्र का निरर्थक प्रयोग बढ़ चला है, भगवान परशुराम से प्रेरणा लेकर संतुलन की जरूरत है ताकि मानव मात्र का कल्याण हो सके।

हम भगवान परशुराम को गौरव और शौर्य का प्रतीक माने हुए हैं, मगर ऐसे महान नायक के गुणों का भी समावेश अपने जीवन में करना होगा मानव कल्याण संभव है। इस महान व्यक्तित्व का आह्वान निश्चय ही मानव जाति के लिए कल्याणकारी होगा। उक्त विचार ब्राह्मण सभा महेंद्रगढ़ द्वारा भगवान परशुराम जन्मोत्सव के उपलक्ष्य में आयोजित कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि रोहतक लोकसभा से सांसद डॉ अरविंद शर्मा ने व्यक्त किए।


कार्यक्रम में अति विशिष्ट अतिथि के रूप में बोलते हुए महेंद्रगढ़ भिवानी के सांसद चौधरी धर्मवीर सिंह ने कहा की भगवान परशुराम को राजनीति के श्रेष्ठ मूल्यों का प्रतिष्ठाता भी माना जाता है। वे शासन में मानवीय गरिमा की सर्वोच्चता के पक्षधर थे। उनके द्वारा सुझाए गए अंतोदय के काम आज भी अनुकरणीय हैं। भगवान परशुराम ने समाज सुधार और जनता को रोजगार से जोड़ने में अहम भूमिका निभाई थी।


कार्यक्रम के अध्यक्ष पूर्व कैबिनेट मंत्री प्रोफेसर रामविलास शर्मा ने कहा भगवान परशुराम भारतीय धर्म और अध्यात्म के क्षितिज पर दैदीप्यमान हस्ताक्षर रहे हैं। उन्होंने धर्म और मर्यादा की स्थापना के लिए शस्त्र और शास्त्र दोनों का प्रयोग किया। भगवान परशुराम सृजन और शौर्य के प्रतीक हैं। राम के साथ परशुराम की भी जरूरत है क्योंकि शक्ति के बिना मर्यादा की स्थापना संभव नहीं। भारतीय राजनीति की श्रेष्ठ परंपरा में भगवान परशुराम के विचार आज भी प्रासंगिक हैं।


अति विशिष्ट अतिथि पूर्व जिला प्रमुख सुरेंद्र कौशिक ने कहा कि भगवान परशुराम ऐसे महा पराक्रमी और तपस्वी नायक हुए हैं जिन्होंने मानवता के विरुद्ध होते हुए गलत कार्य को कभी बर्दाश्त नहीं किया। उनकी न्याय प्रियता किसी प्रमाण की मोहताज नहीं है। सभी अतिथियों और समारोह में पधारे लोगों का ब्राह्मण सभा महेंद्रगढ़ के प्रधान दिनेश चंद्र वैद्य ने अभिनंदन किया।

उन्होंने कहा कि ब्राह्मण सभा के सचिव मनोज गौतम ने इस कार्यक्रम को सफल बनाने में कार्यक्रम की धूरी के रूप में कार्य किया है। इनके साथ-साथ विजय भारद्वाज, विश्वनाथ मिश्रा, जितेंद्र शर्मा, रमेश शर्मा, दीनदयाल, संतलाल, सुरेश शर्मा, कैलाश दत्त शास्त्री सुभाष तिवारी, राजेश दिल्लीवान और पूरी कार्यकारिणी ने इस कार्यक्रम को सफल बनाने में अहम भूमिका निभाई है। मैं समस्त ब्राह्मण समाज और ब्राह्मण सभा का इस कार्यक्रम में पधारने और सफल बनाने पर आभार व्यक्त करता हूं।


कार्यक्रम का कुशल मंच संचालन ब्राह्मण सभा के सचिव मनोज गौतम ने किया। भगवान परशुराम जन्मोत्सव के इस समारोह के लिए शहर के परशुराम चौक और ब्राह्मण सभा को बहुत सुंदर तरीके से सजाया गया था ।कार्यक्रम की शुरुआत पीडब्ल्यूडी रेस्ट हाउस से शोभायात्रा से की गई।

इस भव्य शोभायात्रा में सैकड़ों लोगों ने भाग लिया।शोभा यात्रा में अतिथियों और गणमान्य को घोड़े बाग्गियों पर बैठा कर लाया गया। राधा कृष्ण, राम दरबार, भगवान परशुराम, शिव पार्वती आदि देवताओं की झांकियां निकाली गई।

लगभग 400 युवाओं ने मोटरसाइकिल के साथ भव्य शोभायात्रा को चार चांद लगा दिए। शहर को झंडियों से सजाया गया। जगह- जगह पर शोभायात्रा पर पुष्प वर्षा की गई। शोभा यात्रा में चलने वाले लोगों के लिए जगह -जगह पर ठंडे पानी, जलजीरा, जलपान की व्यवस्था की गई । पूरा शहर भगवान परशुराम के नारों से गूंज उठा। पंजाबी बैंड इस शोभायात्रा में आकर्षण का केंद्र रहा। शहर में जगह-जगह अतिथियों और समारोह में पहुंचने वाले सभी आमखास के स्वागत के लिए विभिन्न सामाजिक संस्थाओं और संगठनों ने स्वागत द्वार लगाए।

ब्राह्मण सभा के परशुराम भवन में सभी अतिथियों ने भगवान परशुराम की पूजा अर्चना की। उसके बाद पुरानी राम-लीला परिषद में आयोजित समारोह स्थल के मुख्य स्टेज तक सभी अतिथियों को बैंड बाजे और नारे लगाते हुए ले जाया गया।

बीआर स्कूल सेहलंग के चेयरमैन हरीश भारद्वाज और हिंदुस्तान स्काउट्स एंड गाइड्स महेंद्रगढ़ के जिला सचिव मनोज गौतम के निर्देशन में बी आर सीनियर सेकेंडरी स्कूल सेहलंग के बच्चों ने सेवा के कार्य में पूरा सहयोग किया। सभी आने वाले अतिथियों का तिलक मंत्रोच्चारण के साथ पटका पहना कर स्वागत किया गया। कार्यक्रम में युवाओं की टीशर्ट और कैप पहने हुए जोशीली टीम भी आकर्षण का केंद्र रही। सभी अतिथियों का ब्राह्मण सभा द्वारा पगड़ी पहनाकर, फूल माला पहनाकर एवं स्मृति चिन्ह देकर सम्मान किया गया।

समारोह में आए हुए सभी मेहमानों ने भगवान परशुराम की प्रसादी के रूप पर भोजन ग्रहण किया। सभी अतिथियों ने ब्राह्मण सभा के लिए दिल खोलकर दान भी दिया।

इस अवसर पर विशिष्ट अतिथि रेणुका पंडित नातिन भूतपूर्व मुख्यमंत्री पंडित भगवत दयाल शर्मा, महावीर प्रसाद शर्मा ट्रांसपोर्टर समाजसेवी गांव बवाना हालावाद गुरुग्राम, महावीर प्रसाद अध्यक्ष लोकतंत्र सेनानी संगठन, समाजसेवी एडवोकेट विजय कौशिक अगियार वाले , समाजसेवी शिवकुमार भारद्वाज हालावाद जयपुर एवं अन्य अतिथियों ने भी भगवान परशुराम जन्मोत्सव के कार्यक्रम को भव्य तरीके से मनाने के लिए ब्राह्मण सभा महेंद्रगढ़ को बधाई दी।

सभी अतिथियों ने भगवान परशुराम की शिक्षाएं जीवन में उतार कर अपने आप को सक्षम, मजबूत और संगठित करने का संदेश दिया। इस अवसर पर नांगल चौधरी, नारनौल, सतनाली, कनीना, चरखी दादरी, रेवाड़ी, भिवानी से भी ब्राह्मण सभाओं के प्रतिनिधि और काफी संख्या में लोग शामिल हुए। महेंद्रगढ़ जिले और आसपास के इलाके से आए हुए लोगों ने कार्यक्रम को सफल और शानदार बताया। लोक गायक धर्मेश कौशिक एवं आशु कवि महाशय परमानंद झगड़े वाले ने अपनी रचनाओं के द्वारा लोगों का खूब मनोरंजन किया ।

उन्होंने धार्मिक और आए हुए अतिथियों के सम्मान में सुंदर-सुंदर रचनाएं प्रस्तुत की। रामलीला परिषद ने सभा को अपना परिसर उपलब्ध कराया। आज पूरा शहर परशुराम के नारों से गूंजता हुआ सुनाई दिया। भारी संख्या में पधारे लोगों ने कार्यक्रम को सफल और शानदार बनाने के लिए ब्राह्मण सभा को बधाई दी।

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