चंडीगढ़ । पीजीटी गणित के 250 पद के लिए विषय ज्ञान परीक्षा आयोजित करने का पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट की डिवीजन बेंच ने रास्ता साफ कर दिया है। सिंगल ने भर्ती पर रोक लगा दी थी जिसके खिलाफ हरियाणा सरकार खंडपीठ में पहुंची थी। सरकार ने याची को प्रोविजनल तौर पर भर्ती में शामिल करने की जानकारी दी। इसके आधार पर डबल बेंच ने अब सिंगल बेंच के आदेश पर रोक लगा दी है, ऐसे में सरकार अब परीक्षा आयोजित कर सकती है।
महेंद्रगढ़ निवासी परमिला ने हाईकोर्ट की सिंगल बेंच में याचिका दाखिल करते हुए बताया था कि उसे पीजीटी गणित के लिए विषय ज्ञान परीक्षा के लिए नहीं चुना गया। सामान्य/अनारक्षित श्रेणी के उम्मीदवार की तुलना में अधिक अंक प्राप्त करने के बावजूद स्क्रीनिंग टेस्ट में चयनित नहीं किया गया। याची ने बीसी (बी) श्रेणी में 100 में से 41.85 अंक प्राप्त किए थे और फिर भी उसका चयन नहीं किया गया लेकिन सामान्य श्रेणी में जिनके 38.04 अंक थे और उनका चयन कर लिया गया है।
विज्ञापन के अनुसार स्क्रीनिंग टेस्ट के समय श्रेणीवार पदों के चार गुना आवेदकों को अगले चरण के लिए शॉर्टलिस्ट किया जाना था। इस चयन के दौरान श्रेणी के अनुसार आवेदकों की मेरिट सूची बनाई गई और इसके चलते याची जिसने सामान्य श्रेणी के आवेदक से अधिक अंक प्राप्त किए हैं फिर भी उसे योग्य नहीं माना जा रहा है। आयोग को उन लोगों की विषय ज्ञान परीक्षा आयोजित करनी थी जो स्क्रीनिंग टेस्ट में योग्य थे। हाईकोर्ट की सिंगल बेंच ने 24 जून 2023 के विज्ञापन संख्या 29/2023 और 44/2023 के अनुसार विषय ज्ञान परीक्षा पर रोक लगा दी थी।
इस फैसले के खिलाफ हरियाणा सरकार ने खंडपीठ में अपील दाखिल की थी। अपील में सरकार ने कहा कि एक आवेदक के कारण पूरी भर्ती नहीं रोकी जा सकती। सरकार प्रोविजनल तौर पर याची को परीक्षा में बैठने की अनुमति देने को तैयार है। इस जानकारी पर हाईकोर्ट ने याचिका का निपटारा करते हुए सिंगल बेंच के फैसले पर रोक लगा दी। खंडपीठ के इस आदेश पर अब भर्ती का रास्ता साफ हो गया है।